हरिद्वार भाजपा जिलाध्यक्ष के मनोनयन को लेकर पार्टी में चल रही खींचतान, गुटबाजी भविष्य के लिए मैदान तैयार कर रही है जिसकी लीला 2027 के चुनाव के दौरान खुलकर, व मुखर होकर सड़को पर दिखाई देंगी । भाजपा में एक गुट साँसद त्रिवेन्द्र सिंह रावत जिसमें स्थानीय विधायक मदन कौशिक व आदेश चौहान है, दूसरा गुट स्वामी यतीश्वरानंन्द पूर्व कैबिनेट मंत्री , पूर्व विधायक संजय गुप्ता ,शिवालिक नगर नगरपालिका के चेयरमैन राजीव शर्मा का हैं तो एक गुट पूर्व मुख्यमंत्री डा, रमेश पोखरियाल निशंक का हैं।
पार्टी में गुटबाजी की उठापटक जिलाध्यक्ष के चुनावों को लेकर काफी मुखर हो गई है। सभी गुट अपने अपने गुट के उम्मीदवार को लेकर अपनी अपनी ढपली अपना अपना राग अलाप रहे हैं । उल्लेखनीय है कि एक युवा तीर्थ पुरोहित को रस्ते से हटाने के नाम पर सभी परस्पर एक दूसरे के विरोधी गुट एक हो गये है ।गौरतलब है कि हरिद्वार की राजनीति में कभी तीर्थ पुरोहितों का वर्चस्व रहा है।
हरिद्वार जब नगर पालिका थी तो सरदार आनन्द प्रकाश जो तीर्थ पुरोहित थे वह तत्कालीन नगरपालिका के चैयरमेन रहे, स्व० बलराम शर्मा एडवोकेट काँग्रेस के जिलाध्यक्ष रहे, स्व हीराबल्लभ त्रिपाठी नगरपालिका के अध्यक्ष रहे उसके बाद आपतकाल में जेल से छूटकर आये स्व० श्री राजकुमार शर्मा तरुण भाजपा के विधायक बने परन्तु उसके बाद हरिद्वार की राजनीति से तीर्थ पुरोहितों की स्थिती नगण्य हो गयीं।
अब एक युवा तीर्थ पुरोहित का नाम भाजपा के जिलाध्यक्ष पद के लिए आगे आने पर हरिद्वार में भाजपा के अन्दर एक दूसरे के घुर विरोधी रहे सभी गुट इस मुद्दे पर एक हो गये है कि इस युवा तीर्थ पुरोहित को अभिमन्यु की तरह चक्रव्यूह से घेर कर जिलाध्यक्ष पद की दौड से बाहर करने की जादोजहद में जुट गये है।
समझ से परे की बात तो यह हैं कि आखिर निज स्वार्थों के लिए वह गुट जिसे प्रदेश के मुख्यमंत्री धामी का गुट बताया जाता हैं वह भी विरोधियों से इस मुद्दे पर सहमति बना चुके हैं कि इस युवा तीर्थ पुरोहित को जिलाध्यक्ष पद की दौड से बाहर का रास्ता दिखाना है इस घमासान में कार्यकर्ता भी पेशोपेश मे है और चुप होकर अपने आकाओं की शतरंजी चालों को देख रहे हैं।
जिलाध्यक्ष पद के लिए जो अन्य नाम पैनल में है, उनमें वर्तमान जिला अध्यक्ष सहित महिला नेत्री दौड़ में बताई जा रही है।
बहराल हरिद्वार में जिलाध्यक्ष के पद की महाभारत खासी चर्चा का मुद्दा बनी हुई है भाजपा के लोगों की निगाहें भी इस कशमकश पर जमीं हैं ।
Reported By: Ramesh Khanna